- पर्यटन विकास की कार्ययोजना तैयार कर उसे क्रियान्वित करे
- किसानों की खुशहाली हमारी प्रतिबद्धता है
- हर ब्लॉक के लिए एफपीओ (फार्म प्रोड्यूसिग आर्गेनाइजेशन) और गोदाम बनाने के लिए प्रस्ताव भेजें
- बस्ती और वाल्टरगंज की बंद चीनी मिलों पर किसानों के बकाया 42 करोड़ के भुगतान के लिए शीघ्र नीलामी की कार्रवाई पूरी की जाए
- कोरोना की इस जंग के साथ प्रदेश की विकास यात्रा सतत जारी रहेगी, धन के अभाव में कोई काम नहीं रुकेगा
- भ्रष्टाचार, अवैध कब्जे की शिकायतों का त्वरित निस्तारण किया जाए
बस्ती (उ.प्र.)। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने अफसरों से कहा कि बस्ती मंडल में पर्यटन विकास की असीम संभावनाएं हैं। सिद्धार्थ नगर में गौतम बुद्ध की क्रीड़ास्थली, संतकबीरनगर में संत कबीर की निर्वाणस्थली और बस्ती में मखौड़ाधाम और 84 कोसी परिक्रमा का क्षेत्र। इन्हें आधार बनाकर पर्यटन विकास की कार्ययोजना तैयार कर उसे क्रियान्वित करे।
मुख्यमंत्री वीडियो कांफ्रेसिग के जरिए एनआइसी सभागार मंडलीय विकास कार्यों की समीक्षा किया। इस मौके पर एनआइसी सभागार में अफसरों के साथ सांसद और विधायक भी मौजूद रहे।
हर्रैया के विधायक अजय सिंह ने मखौड़ा धाम के कार्य में लेटलतीफी का जिक्र किया। कहा वर्ष 2019 के सीएम घोषणा का कार्य अब तक शुरू ही नहीं हो पाया है। मखौड़ा धाम को विकसित करने के लिए बारह करोड़ की तीन परियोजनाएं स्वीकृत की गई थी। 28 जनवरी के घोषणा के क्रम में धन अवमुक्त कर दिया गया। अफसरों की लापरवाही के चलते जून में टेंडर किया गया ,लेकिन कार्य अब तक नहीं शुरू हो पाया है।
समीक्षा बैठक में मंडलायुक्त ने अवगत कराया कि जनपद बस्ती में संचालित अमृत योजना तीन फेज में संचालित की जानी है। प्रथम फेज के अन्तर्गत गृह संयोजन एवं वॉटर मीटर की स्थापना की जानी थी, जिसके अन्तर्गत 2440 मीटर सहित गृह संयोजन एवं 2925 वाटर मीटर की स्थापना की गई है। फेज एक का कार्य शत-प्रतिशत पूर्ण है। फेज दो के अंतर्गत 455 वाटर मीटर सहित गृह संयोजन, 25 किमी पाइपलाइन विस्तार एवं 2 नलकूप का कार्य पूर्ण कर लिया गया है। फेज तीन का कार्य प्रारंभ हो चुका है।
मुख्यमंत्री ने कहा कि किसानों की खुशहाली हमारी प्रतिबद्धता है। केंद्र और प्रदेश सरकार लगातार इस बाबत प्रयासरत हैं। कृषि क्षेत्र के बुनियादी संरचना की बेहतरी के लिए बहुत से काम हो रहे हैं। स्थानीय अधिकारी जनप्रतिनिधियों से समन्वय बनाकर हर ब्लॉक के लिए एफपीओ (फार्म प्रोड्यूसिग आर्गेनाइजेशन) और गोदाम बनाने के लिए प्रस्ताव भेजें। इनसे स्थानीय स्तर पर बड़े पैमाने पर रोजगार के मौके सृजित होंगे। भंडारण संबंधी क्षति रुकेगी। भंडारित अनाज को किसान अपनी मर्जी से बेहतर भाव पर बेच कर खुशहाल होंगे। बस्ती मंडल कृषि प्रधान क्षेत्र है,ऐसे में इन योजनाओं की उपयोगिता यहां अधिक है।
गन्ना किसानों के बकाया भुगतान को लेकर नाराजगी दिखाई। अफसरों को निर्देश दिया है कि बस्ती और वाल्टरगंज की बंद चीनी मिलों पर किसानों के बकाया 42 करोड़ के भुगतान के लिए शीघ्र नीलामी की कार्रवाई पूरी की जाए। रुधौली चीनी मिल के बकाया का भी मसला उठा। यह मिल चल रही है लेकिन भुगतान में हीलाहवाली का मामला सामने आया। मुख्यमंत्री ने गन्ना किसानों का बकाया भुगतान अगले पेराई सत्र के पहले कराने का निर्देश दिया है।
चीनी मिल का प्रदूषित केमिकल आमी नदी में गिराये जाने की लगातार आ रही शिकायतों पर मुख्यमंत्री ने नाराजगी जताई। नदी को प्रदूषित होने से बचाने को कहा साथ ही रुधौली चीनी मिल के गोडाउन की तत्काल जांच करा कर रिपोर्ट देने का निर्देश दिया है।
उन्होंने प्रधानमंत्री के विशेष पैकेज के तहत बैंकों से समन्वय स्थापित कर प्रवासी श्रमिकों, पटरी व्यवसायियों सहित अन्य लोगों को आवश्यक वित्तीय सहायता दिलाई जाए। बस्ती, सिद्धार्थनगर और संतकबीरनगर जनपदों में ग्राम सचिवालय और सामुदायिक शौचालय के निर्माण को तेजी से पूरा करने का निर्देश दिया। सिद्धार्थ नगर के प्रसिद्ध कालानमक चावल को जीरो बजट की खेती से जोड़ने और उत्पाद जैविक हैं या नहीं इसके लिए स्थानीय स्तर पर लैब स्थापित करने को कहा।
मुख्यमंत्री ने कहा है कि जब तक कोविड-19 की कोई वैक्सीन नहीं आ जाती, तब तक बचाव और जागरूकता का क्रम जारी रखना होगा। कोरोना की इस जंग के साथ प्रदेश की विकास यात्रा सतत जारी रहेगी। धन के अभाव में कोई काम नहीं रुकेगा। थाना दिवस और सम्पूर्ण समाधान दिवस के आयोजनों को जनोपयोगी बनाने के निर्देश दिए। कहा भ्रष्टाचार, अवैध कब्जे की शिकायतों का त्वरित निस्तारण किया जाए। बैठक में बताया गया कि 50 करोड़ रुपये से अधिक की जनपद बस्ती व संतकबीरनगर में एक-एक तथा जनपद सिद्धार्थनगर में दो परियोजनाएं संचालित है। इनकी कुल लागत 889.21 करोड़ रुपये है। बताया गया जनपद सिद्धार्थनगर में राजकीय मेडिकल कालेज का कार्य 43 फीसद हो चुका है, यह कार्य माह जून 2021 तक पूर्ण कर लिया जाएगा।